अयोध्या से संतों का ममता बनर्जी के खिलाफ विरोध, दिवाकराचार्य महाराज ने राष्ट्रपति शासन की मांग की

- रिपोर्ट: अमित कुमार
अयोध्या: सत्य सनातन धर्म प्रचारक दिवाकराचार्य महाराज ने अयोध्या के प्रतिष्ठित साधु-संतों और महंतों के साथ मिलकर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के खिलाफ तीखा विरोध दर्ज कराया है। उन्होंने अयोध्या के श्मशान घाट पर प्रतीकात्मक रूप से ममता बनर्जी की ‘अलोकतांत्रिक और अवैधानिक नीतियों’ को मुखाग्नि दी।
दिवाकराचार्य महाराज ने आरोप लगाया कि ममता बनर्जी की नीतियाँ न केवल हिंदू विरोधी हैं, बल्कि पश्चिम बंगाल को हिंदू-विहीन बनाने की ओर अग्रसर हैं। उन्होंने कहा कि देशभर के हिंदुओं को संगठित होकर पश्चिम बंगाल के हिंदुओं का समर्थन करना चाहिए।
महाराज ने कहा, “21वीं सदी का युवा डरने का नहीं, डराने का काम करता है। भागने का नहीं, बल्कि अन्याय के खिलाफ डटकर खड़े होने का काम करता है। अब समय आ गया है कि बंगाल के हिंदू संगठित होकर ममता सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए आगे आएं।”
उन्होंने राष्ट्रपति से अपील की कि पश्चिम बंगाल को ‘मिनी पाकिस्तान’ बनने से रोकने के लिए तुरंत राष्ट्रपति शासन लागू किया जाए और ममता बनर्जी के खिलाफ प्रशासनिक कार्रवाई की जाए।
इस प्रतीकात्मक विरोध के माध्यम से अयोध्या के संत समाज ने देशभर के हिंदुओं को एकजुट होकर लोकतंत्र और धर्म की रक्षा करने का संदेश दिया है।