भारत सरकार ने लिया बड़ा फैसला, सिंधु जल समझौता रोका, पाकिस्तानी नागरिकों का वीजा रद्द

वरिष्ठ संवाददाता: राजीव आनन्द
नई दिल्ली: आतंकवादी हमले के बाद सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति (CCS) की बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में लिए गए पांच बड़े निर्णयों की घोषणा करते हुए केंद्र सरकार ने पाक संबंधों में कड़ा रुख अपनाया है।
सिंधु जल समझौता स्थगित
भारत–पाकिस्तान के बीच वर्ष 1960 का सिंधु जल समझौता तत्काल प्रभाव से रोक दिया गया है। पाकिस्तान को अब सिंधु नदी और उसकी सहायक नदियों का पानी वह मात्रा में नहीं मिलेगा जैसा पहले मिलता था।
अटारी बॉर्डर से आवाजाही पर रोक
पंजाब स्थित अटारी बॉर्डर से सभी प्रकार की आवाजाही—व्यापारिक व यात्रियों की—तत्काल प्रभाव से बंद कर दी गई है। इस निर्णय का व्यापक असर दोनों देशों के सीमावर्ती व्यापार एवं यात्रियों पर पड़ेगा।
पाकिस्तानी नागरिकों के वीजा रद्द
भारत में वीजाधारी सभी पाकिस्तानी नागरिकों के वीजा रद्द कर दिए गए हैं। उन्हें 48 घंटे के भीतर भारत छोड़ने का निर्देश दिया गया है। इस सीमा के बाद ऐसे सभी नागरिक अवैध प्रवासी माने जाएंगे और उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
दूतावास बंद एवं राजनयिकों का निष्कासन
भारत स्थित पाकिस्तानी दूतावास को तत्काल बंद करने का फैसला लिया गया है। इसके घेरे में भारतीय दूतावास–उच्चायें भी आएंगी; पाकिस्तान में स्थित भारतीय मिशनें भी बंद की जाएंगी। इसके साथ ही पाकिस्तानी राजनयिकों को सात दिनों के भीतर देश छोड़ने का आदेश दिया गया है।
नई वीजा नीति लागू
अगली सूचना तक किसी भी पाकिस्तानी नागरिक को भारत में वीजा जारी नहीं किया जाएगा। नई वीजा नीति के तहत पाकिस्तान के लिए सभी श्रेणियों के वीजा—पर्यटन, व्यापार, छात्र, या धार्मिक—पर प्रतिबंध रहेगा।
प्रधानमंत्री मोदी ने बैठक के बाद कहा कि “देश की सुरक्षा सर्वोपरि है, और आतंकवाद को सहन नहीं किया जा सकता।” सरकार ने आश्वासन दिया कि ये कठोर कदम स्थिति सामान्य होने पर फिर से समीक्षा के बाद उठाए जाएंगे।
इन कदमों से दोनों देश संबंधों में तात्कालिक तनाव बढ़ने की संभावना है, जबकि व्यापार, जल-प्रबंधन और पारस्परिक संपर्क ठप हो जाएंगे। विदेश मंत्रालय ने आम जनता से आग्रह किया है कि वे अफवाहों पर आंख न मूंदें और अधिकृत स्रोतों से ही जानकारी लें।