चारबाग रेलवे स्टेशन: टैक्सी माफिया का ‘VIP अड्डा’, प्रशासन मूक, भ्रष्टाचार चरम पर!

- वरिष्ठ संवाददाता: राजीव आनन्द
लखनऊ।
🚨 *लखनऊ का चारबाग रेलवे स्टेशन: सफर की शुरुआत नहीं, ठगी का नया अड्डा!
अगर आप सोच रहे हैं कि चारबाग रेलवे स्टेशन पर उतरते ही आपकी यात्रा सुगम होगी, तो जरा ठहरिए! यहां कदम रखते ही आपको ऐसा लगेगा कि ट्रेन से उतरकर किसी रेलवे स्टेशन पर नहीं, बल्कि ‘अवैध स्टैंड महोत्सव’ में आ गए हैं!
टैक्सी चालकों का ऐसा संगठित ‘मालिकाना हक़’ है कि प्रशासन आंख मूंदे बैठा है, और जीआरपी? अरे भैया, वो तो इस खेल के सबसे बड़े ‘मास्टरमाइंड’ हैं!
चारबाग का ‘खुला खेल’ – अवैध स्टैंड माफिया का राज!
रेलवे एनआर स्टैंड के अध्यक्ष नफीस ने इस अवैध स्टैंड के खिलाफ कई बार शिकायत दर्ज कराई, लेकिन हर बार मामला ‘सिस्टम की कब्रगाह’ में दफना दिया गया। हाल ही में, नफीस को इस्लाम नामक व्यक्ति द्वारा खुली धमकी दी गई। ये वही इस्लाम हैं, जिनका इस गोरखधंधे में बड़ा ‘शेयर’ है, और जिनकी ताकत सरकारी विभागों तक फैली हुई है।
अब सवाल उठता है—प्रशासन की चुप्पी क्यों?
🔹 क्या टैक्सी माफिया को राजनीतिक संरक्षण मिला हुआ है?
🔹 क्या जीआरपी और रेलवे अधिकारी इस गोरखधंधे में हिस्सेदार हैं?
🔹 कब तक चारबाग रेलवे स्टेशन यात्रियों के लिए ‘भ्रष्टाचार का जाल’ बना रहेगा?
🚔 पुलिस के संरक्षण में टैक्सी माफिया!
सूत्रों के मुताबिक, इस्लाम समाजवादी पार्टी के बड़े नेता रह चुके हैं और अब भी उन्हें कुछ पुलिस अधिकारियों व प्रशासन का खुला संरक्षण प्राप्त है।
👉 जीआरपी चौकी इंचार्ज और रेलवे थाने के कई अधीनस्थों पर आरोप है कि वे इस अवैध स्टैंड को खुला समर्थन दे रहे हैं।
👉 यात्रियों से वसूली की यह योजना पूरी तरह संगठित है—मनमाना किराया, जबरन टैक्सी में बैठाना और विरोध करने पर धमकी देना आम बात हो गई है।
📢 ‘स्टेशन’ नहीं, ‘टैक्सी माफिया का किला’ बन चुका है चारबाग!*
🚖 स्टेशन के बाहर टैक्सी चालकों का एक संगठित गिरोह यात्रियों को ‘हाईजैक’ कर लेता है।
🚖 जैसे ही आप स्टेशन से बाहर निकलते हैं, टैक्सी माफिया चारों तरफ से आपको घेर लेता है।
🚖 मनमाना किराया, बदतमीजी और विरोध करने पर धमकी—यही है चारबाग का असली हाल!
प्रशासन ‘सो रहा है’, यात्रियों की लूट जारी!*
अब तक इस अवैध टैक्सी स्टैंड को लेकर कई शिकायतें दर्ज की गईं, कई मीडिया रिपोर्ट्स आईं, मगर कार्रवाई? कागजों में दबा दिया गया!
रेलवे को रोज़ाना करोड़ों का नुकसान हो रहा है, लेकिन अधिकारी इस ‘व्यवस्था’ से इतने खुश हैं।
कि उन्हें यात्रियों की *लूट, अराजकता और नियमों की धज्जियां उड़ते हुए नहीं दिखतीं!
अब सवाल यह है कि क्या मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इस भ्रष्टाचार पर सख्त कार्रवाई करेंगे, या फिर यह ‘अवैध स्टैंड साम्राज्य’ यूं ही चलता रहेगा?
चारबाग आने वाले यात्रियों को अलर्ट कर दिया जाए।
यहां नियम-कानून नहीं, बल्कि ‘अवैध स्टैंड’ और ‘भ्रष्टाचार’ ही असली बॉस हैं!