गोवा: फिल्मी अंदाज़ में स्वास्थ्य मंत्री ने डॉक्टर को किया सस्पेंड, सीएम ने तुरंत पलटा फैसला

- रिपोर्ट: राजीव आनन्द
गोवा: गोवा में एक फिल्मी अंदाज़ का प्रशासनिक घटनाक्रम देखने को मिला, जब राज्य के स्वास्थ्य मंत्री विश्वजीत राणे ने गोवा मेडिकल कॉलेज (GMC) में औचक निरीक्षण के दौरान एक डॉक्टर को मौके पर ही सस्पेंड करने का आदेश दे दिया। आरोप था कि डॉक्टर ने एक वरिष्ठ नागरिक को इंजेक्शन देने से इनकार कर दिया था।
लेकिन यह नाटकीय फैसला ज्यादा देर टिक नहीं पाया। कुछ ही समय बाद गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने मंत्री के आदेश को अस्वीकृत कर दिया और कहा कि संबंधित डॉक्टर को निलंबित नहीं किया जाएगा।
औचक निरीक्षण बना चर्चा का विषय
स्वास्थ्य मंत्री राणे जब GMC के निरीक्षण पर पहुंचे, तो उन्हें एक शिकायत मिली कि एक डॉक्टर ने बुजुर्ग मरीज का इलाज करने से मना कर दिया। इस पर गुस्साए मंत्री ने तुरंत मौके पर ही डॉक्टर को सस्पेंड करने का निर्देश दे डाला, जिससे अस्पताल प्रशासन और स्टाफ में हड़कंप मच गया।
मुख्यमंत्री ने दी सफाई
मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने मंत्री के फैसले को खारिज करते हुए कहा कि ऐसे मामलों में उचित प्रक्रिया और जांच जरूरी होती है, और बिना जांच के सस्पेंशन का आदेश तथ्यों के आधार पर सही नहीं ठहराया जा सकता।
राजनीतिक हलकों में हलचल
इस घटनाक्रम ने गोवा की राजनीति में हलचल मचा दी है। एक ओर मंत्री का सख्त रवैया चर्चा में रहा, तो दूसरी ओर मुख्यमंत्री द्वारा सार्वजनिक रूप से उनके आदेश को पलटना, सरकार के आंतरिक तालमेल पर भी सवाल खड़े करता है।
इस पूरे प्रकरण ने प्रशासनिक कार्यप्रणाली, अधिकारों की सीमाएं और स्वास्थ्य सेवाओं की संवेदनशीलता को लेकर नई बहस को जन्म दे दिया है।